मानवाधिकार शांति, अहिंसा, सहिष्णुता और सह-अस्तित्व के भूमंडलीकरण से सम्भव है मानवाधिकारों की रक्षा
*मानवाधिकार* शांति, अहिंसा, सहिष्णुता और सह-अस्तित्व के भूमंडलीकरण से सम्भव है मानवाधिकारों की रक्षा – मनुष्य हमारी पृथ्वी पर कुदरत का सबसे अनूठा, अनोखा, अबूझ , अलबेला, तमाम रहस्यों से भरपूर, सृजनात्मक एवं रचनात्मक चेतना से लबालब लबरेज और खूबसूरत करिश्मा है। ब्रह्मांड के समस्त प्राणियों में मनुष्य पृथ्वी का [...]