विक्रमशिला हिन्दी विद्यापीठ भागलपुर के कुलपति डॉ.संभाजी राजाराम बाविस्कर ने 55 लोगों को भेंट किया
विक्रमशिला हिन्दी विद्यापीठ भागलपुर के कुलपति डॉ.संभाजी राजाराम बाविस्कर ने 55 लोगों को भेंट किया हिन्दी साहित्य- शिरोमणि, विद्या -सागर और विद्या – वाचस्पति डाक्ट्रेट मानद उपाधि समतुल्य विशेष मानद सम्मान प्रदत्त
बनारस – वाराणसी महानगर के राम कटोरा, लहुराबीर के महामना मालवीय सभागार में विक्रमशिला हिन्दी विद्यापीठ भागलपुर के जनसंपर्क अधिकारी कवि इंद्रजीत तिवारी निर्भीक के प्रमुख संयोजन/संचालन में वहां के कुलपति डॉ.संभाजी राजाराम बाविस्कर ने वैश्विक हिन्दी महासभा के अंतरराष्ट्रीय अध्यक्ष डॉ. विजेंद्र विजयानन्द के अध्यक्षता में काशी सेवा समिति के सभापति डॉ.राम अवतार पाण्डेय एडवोकेट के प्रमुख संरक्षण में मानव समाज के विभिन्न क्षेत्रों से जुड़े लोगों को हिन्दी – साहित्य शिरोमणि, विद्या -सागर एवं विद्या-वाचस्पति विशेष मानद सम्मान – डाक्ट्रेट मानद उपाधि समतुल्य भेंट करके विशेष रूप से सम्मानित किया।जिसका संचालन कवि इंद्रजीत तिवारी निर्भीक ने किया।
उक्त आयोजन में अखिल भारतीय कवि सम्मेलन, कत्थक नृत्य, शास्त्रीय गायन से श्रोता हुए मंत्रमुग्ध।
हिन्दी साहित्य शिरोमणि पूर्व जिला जज एवं अंतर्राष्ट्रीय गज़लकार डॉ.चंद्रभाल सुकुमार, डॉ.रामअवतार पाण्डेय एडवोकेट कवि रामाश्रय गोयल, कवि संगम त्रिपाठी , श्रीप्रकाश कुमार श्रीवास्तव गणेश, कवि एवं पत्रकार शिवेशवरदत्त पांडेय, लेखक एवं पत्रकार कैलाश श्रीवास्तव को भेंट किया गया।
विद्या -सागर विशेष मानद सम्मान ग्रीन मैन डॉ .तारकेश्वर मिश्र जिज्ञासु,डॉ. अरविंद कुमार यादव, कवि राजेश कुमार, डॉ. विजेंद्र विजयानन्द, डॉ.अभय गुप्ता, कवयित्री मणिबेन द्विवेदी, डॉ.सुबाषचंद्र, कवि सुखमंगल सिंह मंगल, डॉ.विजय पाटिल, डॉ.अजमेर कैंथ, डॉ. राजीवन द्रविड़, डॉ. सिद्धनाथ शर्मा सिद्ध, डॉ.गिरीश पाण्डेय, डॉ.पवन कुमार सिंह एडवोकेट, पंडित प्रकाश मिश्र ज्योतिषी, डॉ.कैलाश सिंह विकास, डॉ.विनय पाण्डेय बहुमुखी, कवयित्री सुमति श्रीवास्तव, डॉ. ओमप्रकाश पाण्डेय निर्भय सूर्य कुमार सिंह, कवयित्री झरना मुखर्जी सहित अनेकों लोगों को भेंट किया गया।
विद्या – वाचस्पति विशेष मानद सम्मान चक्रवर्ती विजय नावड, हरिओम प्रताप यादव, इंजीनियर सुरेन्द्र प्रताप, शैलेन्द्र सचान, शशि प्रभा सचान, विजयकांत सचान, सरिता वैश्य, अमरेन्द्र तिवारी, संजय कुमार दूबे, राजेन्द्र गुप्त बावरा, सुनीता अग्रवाल, डॉ. रामजी गुप्ता धीरज, पारुल राज, डॉ.रितू अग्रवाल, राजेश शंकर श्रीवास्तव, आनन्द साहू, अजीत सिंह, श्रेष्ठा आर्या, चंद्रशेखर अग्रवाल, कल्कि महाराज, जसप्रीत कौर, सूर्य प्रकाश सिंह रघुवंशी,अनुज कुमार दूबे, सच्चिदानन्द तिवारी शलभ, कवि अवध बिहारी अवध सहित अनेकों लोगों को मंचीय एवं आनलाईन विशेष मानद सम्मान भेंट किया गया।
मुख्य अतिथि डॉ.संभाजी राजाराम बाविस्कर -कुलपति -विक्रमशिला हिन्दी विद्यापीठ ने कहा कि हिन्दी की बिंदी हम सब ना बिगाड़ें संसार की सबसे शुद्ध आचार, विचार, संस्कार के साथ संस्कृत और हिन्दी को अहिंदी भाषी क्षेत्रों के अनेकों लोगों द्वारा अपनाया जा रहा है। हम सब हिन्दी भाषी अपनी मातृभाषा से दूर हो रहें हैं।जिसका परिणाम हिन्दी और हिन्दुस्तान के लिए खतरनाक हो सकता है। जिससे जागरूकता के क्रम में विक्रमशिला हिन्दी विद्यापीठ परिवार जन-जन को जागृत करने के लिए क्रमबद्ध तरीके से संपूर्ण संसार में यह विशेष मानद सम्मान समारोह में जनजागरण कर रही है। स्वागत संबोधन संपूर्णानंद संस्कृत विश्वविद्यालय के डॉ. हरिप्रसाद अधिकारी डॉ.सुनीता अग्रवाल, डॉ. पवन कुमार सिंह एडवोकेट, कवि चिंतित बनारसी धन्यवाद आभार चक्रवर्ती विजय नावड, डॉ. सिद्धनाथ शर्मा सिद्ध, डॉ. सुख मंगल सिंह मंगल ने संयुक्त रूप से किया।