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साहित्य समागम काव्य धारा

साहित्य समागम काव्य धारा

“पिकनिक के आनंद के साथ साहित्यिक समागम में शामिल हुए नगर के वरिष्ठ साहित्यकार।”

श्रीमती अर्चना जैन के संयोजन में संस्कार भारती, अखिल भारतीय साहित्य परिषद, हिन्दी लेखिका संघ और शहर समता विचार मंच के सामूहिक बैनर तले स्थानीय रेवांचल पार्क में काव्यधारा गोष्ठी का सुमधुर आयोजन हुआ। विभिन्न सामाजिक प्रारब्धों को समेट कर बहुमुखी विषयों को प्रतिपादित किया गया। संयोजिका अर्चना जैन के साथ प्रीति दुबे का संयुक्त संचालन बड़ी कुशलता से किया गया। हिन्दी लेखिका संघ की अध्यक्ष मालती लखेरा ने अध्यक्षीय दायित्व अखिल भारतीय साहित्य परिषद की संरक्षिका प्रतिमा बाजपेयी ने मुख्य अतिथि की आसंदी और विदुषी शिक्षिका प्रज्ञा ताँबे ने विशिष्ट अतिथि के पद को सुशोभित किया। विख्यात संगीतज्ञ जगदीश कछवाहा , गोंडी पब्लिक ट्रस्ट के संचालक विजय अग्रवाल और मूर्धन्य कवि नवीन जैन अकेला जी ने मंच को सुशोभित किया। प्रकृति की गोद में आयोजित यह कार्यक्रम मन को लुभाने वाला रहा। अखिल भारतीय साहित्य परिषद की संरक्षिका, संस्कार भारती और शहर समता विचार मंच की अध्यक्षा, हिन्दी लेखिका संघ की सचिव डॉ अर्चना जैन ने प्रेस रिलीज़ में बताया कि ऐसे आयोजन जहां समाज को दिशा देते हैं वहीं साहित्यकारों को मंच भी उपलब्ध करवाते हैं। सार्वजनिक स्थान पर ऐसे आयोजन से जनसामान्य को भी जुड़ने का अवसर मिलता है। अखिलभारतीय साहित्य परिषद, शहर समता मंच और संस्कार भारती की सचिव प्रीति दुबे ने कार्यक्रम का सुंदर आकर्षक संचालन किया। अखिल भारतीय साहित्यपरिषद अध्यक्ष नवनीता दुबे नूपुर और संरक्षक प्रतिमा बाजपेयी की आयोजन को पूर्णता प्रदान करने में सक्रिय सहभागिता रही। कार्यक्रम का प्रारंभ करते हुए प्रज्ञा मिश्रा ने सरस्वती वंदना की ततपश्चात् नीलू मुस्ताजर की रक्तदान का पुण्य ले शरीर दान महान दान, प्रज्ञा वाजपेयी की जबसे मेरा दर्द बढ़ा है, नवीन जैन की चाचा चलें गए, रश्मि वाजपेयी की सूरज और निशा की अठखेलिया, विनीता मिश्रा की पहचान स्वयं की, नवनीता दुबे की पढ़ना लिखना है जरूरी, अर्चना जैन की सदचरित्र जिनको कहते हैं, प्रतिमा वाजपेयी की गोल जगत के रंग सुहाने, सविता मोदी की माँ से ममता का सुखद अहसास, प्रज्ञा ताँबे की कितनी खूबसूरत ये तस्वीर है, मालती लखेरा की यमुना तट बंसी वट और प्रीति दुबे की अटल सत्य इन मधुरम प्रस्तुतियों ने सभी को आनंद विभोर कर दिया। आभार प्रदर्शन प्रतिमा वाजपेयी ने किया।

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