सरस काव्य गोष्ठी /विद्या वाचस्पति तथा भारत गौरव सम्मान समारोह संपन्न
सरस काव्य गोष्ठी /विद्या वाचस्पति तथा भारत गौरव सम्मान समारोह संपन्न
लखनऊ,साहित्य की दुनिया उत्तर प्रदेश इकाई एवं भाष्कर साहित्यिक सांस्कृतिक एवं सामाजिक संस्था,भारत के संयुक्त तत्त्वावधान में सरस्वती एकेडमी,पांडेय चौराहा, भरत नगर,सीतापुर रोड,लखनऊ में दिनांक 01.07.24 को अपरान्ह सरस काव्य गोष्ठी/सम्मान समारोह का आयोजन किया गया, जिसकी अध्यक्षता डॉक्टर अजय प्रसून ने की।मुख्य अतिथि डॉक्टर साहब दीन दीन, विशिष्ट अतिथि डॉक्टर नीलम रावत एवं सुरेश चंद सक्षम थे। कार्यक्रम का कुशल संचालन राम राज भारती फतेहपुरी ने किया।संयोजन प्रवीण पाण्डेय आवारा थे। कार्यक्रम का शुभारंभ दीप प्रज्वलन उपरांत डॉक्टर कुसुम चौधरी द्वारा प्रस्तुत वाणी वंदना से हुआ।
इस अवसर पर डॉक्टर अजय प्रसून, डॉक्टर साहब दीन दीन, सुरेश चंद्र ” सक्षम,”डॉक्टर नीलम रावत, खालिद हुसैन, कन्हैया लाल, डॉक्टर कुसुम चौधरी, प्रवीण कुमार पांडेय आवारा, हरि गोविंद यादव, मृत्युंजय प्रसाद गुप्त, यदुनाथ सुमन, शशि चौधरी, शिवकांत, राम राज भारती फतेहपुरी, प्रेमशंकर शास्त्री बेताब व आशीष पांडेय आदि ने अपनी कविताओं से गोष्ठी को ऊंचाई प्रदान की। काव्यांश अधोलिखित हैं।
डॉक्टर कुसुम चौधरी ने गीत प्रस्तुत किया “कर रही सबरी प्रतीक्षा। पूर्ण होगी कब परीक्षा।”
कन्हैया लाल ” हेम तपे न मिटे वह रूप,खरा उतरे सच रूप बतावै।”
डॉक्टर नीलम रावत ” तपि जेठ भयंकर रूप धरे, सूरजों धधकाय रहा गरमी ।” प्रवीण पाण्डेय ‘आवारा’ सुनि लिहिनि इन्द्र देउता पुकार,बरसाइ दिहिनि थ्वारा पानी।तपि गवा महीना जेठु पूर, अब होइ लागि हइ हैरानी।।
डॉक्टर यदुनाथ सुमन ” ये झोपड़ी हमारी यहीं पे रहने दो।
चाहत न आसमा की जमीं पे रहने दो।”
हरि गोबिंद यादव” बदनीयती फलती नहीं यारो बताओ क्या करें।”
खालिद हुसैन ” या रब तू इक जहान पैदा कर।खुलूशो मोहब्बत वाला इंसान पैदा कर।”
डॉक्टर अजय प्रसून ” एक तीखी कटार है यारो।ये गजल धारदार है यारो।”
डॉक्टर साहब दीन दीन” हमदर्द सभी बनकर मेरे,इस दिल में समाया करते हैं।”
राम राज भारती फतेहपुरी “अनागत का दौर तो आज है कठिन किंतु , कल वाली सुबह तो अधिक सुहानी है।”
इस अवसर पर समृद्ध मंच एवं विक्रम शिला हिंदी विद्यापीठ भागलपुर बिहार के प्रतिनिधि/मुख्य अतिथि डॉक्टर साहब दीन दीन द्वारा विद्या वाचस्पति/भारत गौरव सम्मान वितरित किए गएI
1.श्री कन्हैयालाल- विद्यावाचस्पति
2.श्री प्रवीण कुमार पांडेय आवारा-विद्यावाचस्पति
3:श्री हरि गोविन्द यादव- विद्यावाचस्पति
4:श्री प्रेम शंकर शास्त्री बेताब- विद्यावाचस्पति
5:डॉ.कुसुम चौधरी-भारत गौरव
6:डॉ.यदुनाथ सुमन-भारत गौरव
7:खुशबू गौतम -विद्यावाचस्पति।
कार्यक्रम के अंत में संयोजक प्रवीण पाण्डेय आवारा ने सभी साहित्यकारों/ आगंतुकों का आभार व्यक्त किया।